Dharm News: हिंदू धर्म में पूजा-पाठ के साथ-साथ शंख बजाने का विशेष महत्व है. कहते हैं कि जब भी कभी आप पूजा करें तो शंख अवश्य बजाएं. ऐसा करने से देवी-देवता प्रसन्न होते हैं और वातावरण भी शुद्ध होता है लेकिन कुछ लोग ऐसे भी होते हैं, जो की सुबह-शाम दोनों समय भी शंख बजाते हैं लेकिन ऐसा करना कितना सही होता है? इसके बारे में आज आपको जानकारी देंगे.
कई बार लोगों के मन में सवाल उठता है कि शाम के बाद शंख बजाना चाहिए या फिर नहीं, तो चलिए आज आपको बताते हैं-
Kapoor Ke Upay: घर की इन जगहों पर रख दें कपूर, पूरे परिवार की चमक जाएगी किस्मत
जब भी घर में पूजा के समय शंख बजाया जाता है तो इससे दैवीय शक्तियां फैलती हैं और घर में सकारात्मक आती है हालांकि शंख बजाने के कुछ नियमों को भी ध्यान में रखना चाहिए. ऐसा करना अनिवार्य माना गया है.
शास्त्रों के अनुसार, कभी भी शाम के बाद या फिर रात में शंख नहीं बजाना चाहिए. ऐसा करना अशुभ होता है. हिंदू धर्म शास्त्र में बताया गया है कि सूर्यास्त होने के बाद सभी देवी-देवता आराम करते हैं. ऐसे में जो लोग भी शंख बजा देते हैं, उससे उनके आराम में खलल पैदा हो सकती है.
जो लोग सूर्यास्त के बाद शंख बजाते हैं, उनके घर में अशुभता आती है और हो सके तो शाम की पूजा सूर्यास्त से पहले ही कर लें.
हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार, पूजा पाठ में प्रयोग की जाने वाली सभी चीज सूर्योदय से लेकर के सूर्यास्त के समय तक ही शुद्ध रहती है. उसके बाद उन्हें अशुद्ध की श्रेणी में गिना जाता है.
कभी भी सूर्यास्त के बाद घंटी नहीं बजानी चाहिए. इस वजह से भी देवी देवताओं के विश्राम में खलास पैदा हो सकती है.
क्यों करना चाहिए ‘हरे कृष्ण हरे राम’ नाम का जाप, जानिए महत्व
अगर आप शाम को पूजा के समय शंख बजाते हैं तो समय का ध्यान जरूर रखें और सूर्यास्त के समय आरती में घंटी और शंख बजा सकते हैं.
Disclaimer: ऊपर दी गई जानकारियां धार्मिक मान्यताओं-परंपराओं के अनुसार हैं. Readmeloud इनकी पुष्टि नहीं करता है.