चोरी को लेकर बना नया कानून, इतने हजार की चोरी पर नहीं होगी कोई कार्रवाई
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चोरी को लेकर बना नया कानून, इतने हजार की चोरी पर नहीं होगी कोई कार्रवाई

Utility News: जैसे ही किसी के घर में चोरी होती है तो लोग तुरंत पुलिस को इन्फॉर्म करते हैं लेकिन अब आप ऐसा नहीं कर सकेंगे. भारतीय न्याय संहिता की नई धारा के तहत अगर कहीं पर छोटी-मोटी चोरी होती है तो पुलिस उन जगहों पर कोई भी एक्शन नहीं लेगी. चोरी करना एक अपराध माना जाता है अगर कोई व्यक्ति चोरी करता है तो पुलिस तुरंत उसका कार्रवाई करती है लेकिन भारतीय न्याय संहिता की इस धारा के अंतर्गत अगर छोटी-मोटी कोई चोरी होती है तो पुलिस ऐसे केसेस में कोई कार्रवाई नहीं करेगी. साथ ही साथ पुलिस थाने से वापस भी भेज सकती है.

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चोरी के लिए बनाई गई नई धारा के अंतर्गत अगर चोरी ₹5000 से कम की होती है तो फिर पुलिस किसी तरह का कोई भी एक्शन नहीं लगी. दरअसल, मध्य प्रदेश में एक बेहद ही शॉकिंग मामला सामने आया, यहां पर एक व्यक्ति ने केवल 125 रुपये के रसगुल्ले चोरी होने की कंप्लेंट दर्ज करवाई थी हालांकि बाद में यह मामला रद्द कर दिया गया कि धारा 303 (2) के तहत दर्ज किया गया था. इस धारा के तहत अगर कहीं पर ₹5000 से कम की चोरी होती है तो पुलिस ऐसे किसी तरह का कोई केस नहीं दर्ज करेगी. दरअसल ऐसा अपराध नाॅन सीरियस क्राइम की लिस्ट में आता है. ऐसे लोगों पर पुलिस डायरेक्ट कार्रवाई नहीं कर सकती है.

बीएनएस के अंतर्गत बनाए गए नए कानून में ₹5000 से कम की चोरी को असंज्ञेय अपराध की श्रेणी में माना गया है मतलब इतनी छोटी चोरी के लिए किसी तरह की कोई एफआईआर दर्ज नहीं होगी. अगर आपके पास कोई घटना हो गई है, कोई चोरी हो गई है और चोरी की राशि लगभग ₹5000 से कम की है और पुलिस कोई एक्शन भी नहीं ले रही है तो इसके लिए आप इस्तगाशा न्यायालय में जा सकते हैं. यहां पर अदालत की तरफ से पुलिस को कार्रवाई का आदेश दिया जा सकता है और तभी पुलिस कार्रवाई आगे की करेगी.

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इस तरह के मामले में अभिव्यक्त की चोरी हुई संपत्ति को वापस करने या फिर उसके नुकसान की भरपाई करने का विकल्प दिया जाता है. इस तरह के केस में कोर्ट जेल की सजा नहीं सुना सकता. साथ ही अभियुक्त को सामुदायिक सेवा का आदेश दिया जा सकता है.

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